Edited By Neetu Bala, Updated: 08 May, 2024 01:36 PM
सेना इलाकों में नशे के इस्तेमाल को रोकने के लिए ऐसे कार्यक्रम चला रही है,
बांदीपोरा ( मीर आफताब ): एक तरफ जहां देश की सुरक्षा के लिए सेना देश की सीमाओं पर अपनी ड्यूटी निभाने में कोई कसर नहीं छोड़ती है, वहीं दूसरी ओर जब भी देश में कोई आपदा आती है तब भी सेना लोगों की जान बचाने में सबसे आगे रहती है। सेना को उन युवाओं की चिंता है जो ड्रग्स का इस्तेमाल कर रहे हैं। यही वजह है कि सेना अब सीमावर्ती इलाकों में नशे के इस्तेमाल को रोकने के लिए ऐसे कार्यक्रम चला रही है, जिसका मकसद युवा पीढ़ी को नशे से बचाना है।
भारतीय सेना ने बुधवार को उत्तरी कश्मीर के बांदीपोरा जिले के गुरेज घाटी के बागटोर क्षेत्र के युवा केंद्र में नशा विरोधी जागरूकता अभियान चलाया गया।
इस कार्यक्रम में बागटोर क्षेत्र के स्कूली बच्चों और युवाओं ने सक्रिय भागीदारी की। सेना के डॉक्टरों ने एनटीपीसी बागटोर के स्थानीय डॉक्टरों के साथ मिलकर नशीली दवाओं के उपयोग के खतरों और इससे दूर रहने के तरीकों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए संयुक्त रूप से जानकारी दी।
स्थानीय लोगों ने अपने दूरदराज के क्षेत्र में इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम के आयोजन के लिए सेना और प्रशासन के प्रति आभार व्यक्त किया। भारतीय सेना की यह पहल क्षेत्र में सामाजिक कल्याण और सामुदायिक आउटरीच के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाती है। युवाओं को नशीली दवाओं के दुरुपयोग के खतरों के बारे में शिक्षित करके, सेना क्षेत्र के भविष्य की रक्षा करने के लिए काम कर रही है।
इस बीच स्थानीय लोगों ने गुरेज घाटी के दूरदराज के इलाकों में इस तरह के जागरूकता कार्यक्रम आयोजित करने के लिए भारतीय सेना के प्रति आभार व्यक्त किया है।